RBI: मैक्रोइकॉनॉमिक इंडिकेटरों में सुधार के साथ केंद्रीय बैंक दरों के कम रखते हुए तरलता पर बेहतर पकड़ रखना पसंद कर सकता है.
क्लोज एंडेड फंड की परफॉर्मेस पूरी तरह से फंड मैनेजर पर निर्भर करती है और इस तरह के फंड में अपनी कॉस्ट को एवरेज करने का कोई विकल्प नहीं है.
Financial Liquidity: भले ही बैंक अकाउंट में पैसे हों, FD हो या कोई और निवेश पर अगर आपके पास उसे तुरंत इस्तेमाल करने का जरिया नहीं तो सब बेकार
RBI ने हेल्थकेयर सेक्टर को 50,000 करोड़ रुपये की लिक्विडिटी मुहैया कराई है. निजी सेक्टर को इस पैसे से कोविड के खिलाफ जंग तेज करनी चाहिए.